धीमी बल्लेबाजी पर उठे सवाल तो पुजारा ने दिया यह जवाब

punjabkesari.in Thursday, Dec 17, 2020 - 08:13 PM (IST)

एडीलेड : चेतेश्वर पुजारा को अपना पहला चौका जड़ने के लिए 148 गेंदों तक इंतजार करना पड़ा लेकिन भारत के इस सीनियर बल्लेबाज को ऐसा नहीं लगता है कि उन्होंने आस्ट्रेलिया के खिलाफ गुलाबी गेंद से खेले जा रहे पहले टेस्ट क्रिकेट मैच के शुरुआती दिन गुरुवार को बेहद धीमी बल्लेबाजी की। भारत ने पहले दिन का खेल समाप्त होने तक छह विकेट पर 233 रन बनाये हैं जिसमें पुजारा के 160 गेंदों पर बनाए गए 43 रन भी शामिल हैं और उनका मानना है कि पहली पारी में 350 रन का स्कोर अच्छा होगा। 

पुजारा से मैच के बाद पूछा गया कि क्या वह अपनी पारी में थोड़ा तेजी दिखा सकते थे तो उन्होंने कहा कि नहीं कतई नहीं। पहले दो सत्र में हम बहुत अच्छी स्थिति में थे। जब गेंद स्विंग कर रही थी तो हमें यह सुनिश्चित करने की जरूरत थी कि हम विकेट न गंवाए। यह टेस्ट क्रिकेट के लिहाज से शानदार दिन था और रणनीति को लेकर हमें कोई खेद नहीं है। हम शॉट खेलकर अधिक विकेट नहीं गंवा सकते थे और नहीं चाहते थे कि हमारी पूरी टीम दिन में आउट हो जाए।

उन्होंने अपनी बल्लेबाजी शैली का भी बचाव किया क्योंकि विकेट शॉट खेलने के लिए उपयुक्त नहीं था। टेस्ट क्रिकेट में धैर्य की जरूरत होती है। अगर विकेट सपाट होता है तो आप आक्रामक हो सकते हो लेकिन जब उससे गेंदबाजों को मदद मिल रही हो तो आप बहुत अधिक शॉट नहीं खेल सकते। विदेशी परिस्थितियों में आप (पहली पारी में) 200 से कम का स्कोर नहीं चाहते। पहले दो सत्र में गेंदबाज और पिच दोनों तरोताजा थे।

पुजारा का मानना है कि मैच पर अभी दोनों टीमों की समान पकड़ बनी हुई है हालांकि उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि कप्तान विराट कोहली और अजिंक्य रहाणे के आउट होने से आस्ट्रेलिया थोड़ा फायदे की स्थिति में है। डिनर ब्रेक के बाद नाथन लियोन और पुजारा के बीच गजब की जंग देखने को मिली और भारतीय बल्लेबाज ने आस्ट्रेलियाई ऑफ स्पिनर की पिछले पांच वर्षों में विश्वस्तरीय गेंदबाज बनने के लिए प्रशंसा की। पुजारा ने कहा कि उसने गेंदबाजी में काफी सुधार किया है। उसकी लाइन व लेंथ वास्तव में सुधरी है। वह चुनौती पसंद करता है और उसका सामना करते हुए आपको भी उस चुनौती का सामना करने के लिये तैयार होना पड़ता है।

Raj chaurasiya