Round The Wicket: वर्ल्ड कप से पहले टीम इंडिया के विदेश में आखिरी सीरीज हारने के मायने क्या?

punjabkesari.in Monday, Feb 11, 2019 - 05:22 PM (IST)

स्पोटर्स डेस्क (अतुल वर्मा): न्यूजीलैंड के खिलाफ टीम इंडिया को ना केवल हैमिल्टन में पूरा जोर लगाने के बावजूद मात्र 4 रन से मैच गवाना पड़ा, बल्कि टी-20 सीरीज में 2-1 से हार भी झेलनी पड़ी और वर्ल्ड कप से पहले टीम इंडिया के विदेशी सरजमीं में इस तरह आखिरी सीरीज हारने के कई मायने निकलते हैं, जोकि टीम इंडिया के लिए शुभ संकेत नहीं देते और इस पर बड़ी डिबेट भी बनती है। जाहिर तौर पर आगामी वर्ल्ड कप इस बार विदेश में ही होना है। ऐसे में सवाल ये उठता है कि मई महीने में शुरू होने वाले क्रिकेट के सबसे बड़े महाकुंभ में भी अगर यूं ही छोटी-छोटी चूक करते हुए खेलेंगे तो फिर वर्ल्ड कप कैसे जीतेंगे ?

सीरीज जीत न्यूजीलैंड ने जताया, हम भी हैं वर्ल्ड कप के दावेदार

दमदार बल्लेबाजी, शानदार फिल्डिंग और उतनी ही बढ़िया गेंदबाजी। टीम इंडिया के खिलाफ अपने ही घर में खेली गई टी-20 सीरीज में शानदार खेल दिखाते हुए सीरीज अपने नाम कर कीवी टीम ने जता दिया कि वो भी गेम में हैं और वर्ल्ड कप के दावेदार भी। इस टी-20 सीरीज की बात करें तो विलियम्सन ब्रिगेड ने हर मामले में अपने आपको साबित किया और आगामी वर्ल्ड कप के लिए आगाह भी किया कि हमें हल्के में लोगे तो चूक करोगे। 

बल्लेबाजी नहीं गेंदबाजी है कमजोर कड़ी, दिग्गजों की अनदेखी पड़ेगी भारी

न्यूजीलैंड के खिलाफ खेली गई टी-20 सीरीज की बात करें तो साफ तौर पर टीम इंडिया के लिए गेंदबाजी ही कमजोर कड़ी रही। ऑकलैंड में खेले गए दूसरे टी-20 मैच को छोड़कर बाकी दोनों टी-20 में टीम के तमाम गेंदबाजों ने जमकर रन लुटाए। इस सीरीज में दिग्गज तेज गेंदबाज की अनदेखी भी टीम को भारी पड़ी। टीम चाहती तो अनुभवी और दिग्गज खिलाड़ी मोहम्मद शमी को वनडे के बाद टी-20 सीरीज में भी कंटीन्यू कर सकती थी, लेकिन

दिग्गज गेंदबाज को आराम देकर युवा गेंदबाज को मौका दिया गया और अगर इस मामले में खलील अहमद की बात करें तो उन्होंने मौके को कैश नहीं किया और इस सीरीज में खास करिश्मा नहीं कर पाए। ऐसे में टीम इंडिया को गेंदबाजी के मामले में नुकसान हुआ, नतीजा सीरीज गवानी पड़ी।

जहां थोड़ा भी ओवर कॉन्फिडेंट्स दिखाया, समझो गेम वहीं खत्म

इसमें कोई दोराय नहीं कि टीम इंडिया आत्मविश्वास से भरपूर है, लेकिन अति आत्मविश्वास भी टीम की नैया कई बार डूबा चुका है। न्यूजीलैंड के खिलाफ 4-1 से वनडे सीरीज जीतने के बाद क्रिकेट फैन्स के मुताबिक ओवर कॉन्फिडेंट्स में उतरी टीम इंडिया को पहले ही टी-20 में हार झेलनी पड़ी। जिसके बाद टीम इंडिया को में बढ़त के बजाय पहले सीरीज 1-1 करने के लिए जोर-आजमाइश करनी पड़ी।

हर मैच में फिल्डिंग सबसे अहम, नहीं तो रह जाएंगे पीछे

किसी भी मैच में फिल्डिंग वाला महकमा टर्निंग प्वाइंट साबित होता है और ऐसा ही इस सीरीज में टीम इंडिया के साथ हुआ। न्यूजीलैंड के खिलाफ टी-20 सीरीज में टीम इंडिया फिल्डिंग के लिहाज से रन रोकने और कैच लपकने के मामले में पीछे रही और इस कारण टीम सीरीज में भी 2-1 से पीछे रह गई। अगर आप फिल्डिंग वाले महकमें में चूक कर रहे हैं तो आप विरोधी टीम को एक तरह से न्यौता ही दे रहे हैं कि आईए और रन बनाईए।

प्लेयर सेलेक्शन में देरी पर भुगतने पड़ सकते हैं परिणाम

पहले 2 टी-20 मुकाबलों में युजवेंद्र चहल के कुछ खास कमाल ना दिखा पाने और सीरीज 1-1 पर आने के बाद दबाव में ही कप्तान रोहित शर्मा को कुलदीप यादव की याद आई, लेकिन तब तक देर हो चुकी थी। इस मामले में रोहित शर्मा ने खिलाड़ी चुनने में देरी की। रोहित चाहते तो पहले ही मुकाबले से दोनों को परख कर दूसरे और आखिरी टी-20 में अंदर-बाहर कर सकते थे, लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया और परिणाम सीरीज हारकर भुगता।

कुलदीप यादव सीरीज के पहले ही मैच से अंदर होते तो नतीजा कुछ ओर हो सकता था। ऐसे में अगर टीम इंडिया वर्ल्ड कप में भी इस तरह की ही चूक करती है तो जाहिर तौर पर इस गलत परिणाम ही सामने आ सकते हैं।

 

 

 

Atul Verma