वरुण चक्रवर्ती ने अपनी अंतररष्ट्रीय वापसी के लिए सूर्यकुमार और गंभीर को दिया श्रेय
punjabkesari.in Wednesday, Oct 08, 2025 - 02:11 PM (IST)

मुंबई : दुनिया के शीर्ष टी20 गेंदबाज वरुण चक्रवर्ती का कहना है कि भारत के मुख्य कोच गौतम गंभीर ने टीम में 'साहसी मानसिकता' को बढ़ावा दिया है, जिसमें 'हार का कोई विकल्प नहीं होता'। उन्होंने लगभग तीन साल टीम से बाहर रहने के बाद अपनी अंतररष्ट्रीय वापसी का श्रेय गंभीर और टी20 कप्तान सूर्यकुमार यादव को भी दिया।
वरुण ने मंगलवार को मुंबई में सिएट क्रिकेट रेटिंग अवार्ड्स के मौके पर कहा, 'मैं (गंभीर) उनके बारे में एक बात जरूर कह सकता हूं कि वह टीम में एक साहसी मानसिकता लेकर आते हैं जहां हार का कोई विकल्प नहीं होता। आपको बस अपना सर्वश्रेष्ठ देना होता है और मैदान पर अपना सब कुछ झोंक देना होता है और बाद में, जो भी होता है, होता है। जब वह मौजूद होते हैं, तो कोई सामान्यता नहीं रहती - आप मैदान में औसत नहीं हो सकते, ऐसा मैं महसूस करता हूं।'
वरुण ने जुलाई 2021 में भारत के लिए पदार्पण किया था, लेकिन 2021 टी20 विश्व कप में एक कठिन अभियान का सामना करने के बाद, उन्हें टीम से बाहर कर दिया गया और अक्टूबर 2024 में ही वे भारत के लिए दोबारा खेले। तब से, वरुण भारत की टी20 एकादश में नियमित रूप से शामिल रहे हैं और उन्होंने अपना वनडे पदार्पण भी किया है और इस साल की शुरुआत में टीम को चैंपियंस ट्रॉफी जिताने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
उन्होंने कहा, 'जब मैंने दोबारा वापसी की, तो सूर्या और जीजी (गंभीर) ने मुझसे बात की और उन्होंने मुझे बताया कि हम आपको विकेट लेने वाले गेंदबाजों में से एक के रूप में देख रहे हैं। और उन्होंने पूरे समय मेरा समर्थन किया। इसके लिए मुझे उन्हें श्रेय देना होगा। मैं तीन साल से ज़्यादा समय तक टीम से बाहर रहा, लेकिन आईपीएल में मेरा प्रदर्शन लगातार अच्छा रहा। उन्होंने इसे पहचाना और मुझे टीम में शामिल किया, यह मेरे लिए बहुत बड़ी बात थी।'
ऑस्ट्रेलिया दौरे के लिए भारत की वनडे टीम से बाहर किए गए वरुण ने उन चीजों के बारे में बात की जिन पर गंभीर चाहते हैं कि वह वनडे क्रिकेट में अपनी संभावनाओं को बेहतर बनाने के लिए काम करें। 'असल में, बातचीत लंबे स्पैल में गेंदबाजी करने के बारे में थी। क्योंकि टी20 में आप ज़्यादा से ज़्यादा दो ओवर लगातार गेंदबाजी कर सकते हैं। लेकिन वनडे में, आपको लगातार पांच से छह ओवर गेंदबाजी करनी होती है, जिस पर मैंने काम किया और चैंपियंस ट्रॉफी में मैं ऐसा करने में कामयाब रहा। और वह चाहते हैं कि मैं घरेलू सकिर्ट में थोड़ा और ऊपरी क्रम में बल्लेबाजी करूं और अपनी बल्लेबाजी में सुधार करूं।'
वरुण ने साथी स्पिनर कुलदीप यादव की भी जमकर तारीफ की, जो एशिया कप में सबसे ज़्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाज रहे। वरुण ने कहा, 'कुलदीप निश्चित रूप से हमारे मौजूदा खिलाड़ियों में सबसे अनुभवी गेंदबाजों में से एक हैं और उन्होंने कमाल का प्रदर्शन किया है। मैं 95 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ़्तार से गेंदबाजी करता हूं और वह लगभग 85 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ़्तार से, इसलिए हम एक-दूसरे के पूरक हैं। उनके पास ज़्यादा रेव्स और ज़्यादा टर्न है, मेरे पास ज़्यादा स्पीड और बाउंस है, इसलिए अब तक यह हमारे लिए अच्छा काम कर रहा है। उम्मीद है कि हम विश्व कप में भी ऐसा ही कर पाएंगे।'